भूमि पेडनेकर वर्तमान अभिनेत्रियों में एक ऐसा सितारा हैं जो बहुत टैलेंटेड मानी जाती हैं और रीयलिस्टिक ऐक्टिंग के लिए जानी जाती हैं। भूमि की ऐक्टिंग के अलावा वो बात जो उन्हें खास बनाती है, वो है अपने रोल के लिए उनका समर्पण और अपने को बदलने की क्षमता।
अब तक ऐसा कई बार हुआ है कि फिल्म के हीरो ने रोल के मुताबिक अपना वजन बढ़ाया हो परन्तु ऐसा संभवतः बॉलीवुड इतिहास में कभी नहीं देखा गया कि किसी खूबसूरत अच्छे फिगर वाली ऐक्ट्रैस ने अपना वजन कई किलो बढ़ा कर मोटी दिखने वाला रोल किया हो, जैसा भूमि अपनी पहली फिल्म ‘दम लगा के हईशा’ में कर चुकी हैं।
तो आइए, जानते हैं इस बेहतरीन अभिनेत्री के जीवन की कुछ खास बातें और ज़्यादा करीब से।
भूमि पेडनेकर की उम्र कितनी है? (Bhumi Pednekar Age)
भूमि पेडनेकर 18 जुलाई 1989 को मुंबई में पैदा हुई थीं। भूमि पेडनेकर ने जुहू के आर्य विद्या मंदिर स्कूल से पढ़ाई की थी। वैसे तो वह पढ़ाई में ठीक ही थीं परन्तु 7वीं कक्षा में वो भौतिक विज्ञान में एक बार फेल हो गईं थीं। उन्होंने मुंबई यूनिवर्सिटी से पत्राचार के माध्यम से वाणिज्य में ग्रैजुएशन किया।
भूमि पेडनेकर के पिता का क्या नाम है
उनके पिता सतीश पेडनेकर जो मराठी थे, महाराष्ट्र सरकार में गृह एवं श्रम मंत्री थे और माँ सुमित्रा जो हरियाणवी हैं, उन्होंने मुंह के कैंसर से पति की मृत्यु के बाद एक तंबाकू विरोधी सामाजिक कार्यकर्ता के रूप में काम किया। चूँकि वो फिल्म लाइन में अपना करियर बनाना चाहती थीं, इसलिए जब वो 15 साल की थीं तो उनके पिता ने व्हिसलिंग वुड्स इंटरनेशनल में उनको ऐक्टिंग के कोर्स में लोन ले कर उनका दाखिला कराया पर कम अटेंडेंस के कारण उनको वहाँ से हटा दिया गया था।
भूमि की कद–काठी और रहन–सहन (Bhumi Pednekar Height)
भूमि पेडनेकर की लम्बाई 5 फीट और 2 इंच है। अपनी पहली फिल्म के समय उन्होंने अपना वजन 80 kg कर लिया था और फिल्म के बाद फिर वापस 60 kg किया। अपनी पहली फिल्म ‘दम लगा के हईशा’ में एक मोटी महिला का रोल करने वाली भूमि ने फिर से छरहरी बनकर सबको चौंका दिया।
भूमि पेडनेकर वजन (Bhumi Pednekar Weight)
असल में इस फिल्म में आने से पहले वो पतली ही थीं परन्तु उन्होंने रोल के मुताबिक वजन बढ़ाना स्वीकार किया। सब जानते हैं की आजकल हिरोइनें अपने फिगर और लुक्स का सबसे ज़्यादा ध्यान रखती हैं। वजन बढ़ाने वाले और अधिक उम्र की दिखने वाले रोल्स आम तौर पर कोई हिरोइन नहीं करना चाहती।
लेकिन भूमि पेडनेकर को विश्वास था की वो दोबारा से मेहनत कर के अपनी फिगर को मेंटेन कर लेंगी, इसको कहते हैं आत्म-विश्वास! इसके लिए उन्होंने कभी भी किसी डायटीशियन या न्यूट्रिशनिस्ट से संपर्क नहीं किया। उनका इस तरह वजन कम करना उन लोगों के लिए बहुत इंस्पायरिंग है जो लोग वजन कम करके फिट रहना चाहते हैं और इसके लिए उनका एक ही मन्त्र है – ‘घर का बना खाना खाओ’!
भूमि पेडनेकर की पहली फिल्म कौन सी है (Bhumi Pednekar Film)
भूमि पेडनेकर ने अपनी पहली ही फिल्म यश राज के बड़े बैनर तले ‘दम लगा के हईशा’ करी जिसमें उनके हीरो थे कंटेंट किंग आयुष्मान खुराना। फिल्म ज़बरदस्त हिट साबित हुई और इस फिल्म के लिए बैस्ट फीमेल डेब्यू का फिल्मफेयर अवॉर्ड जीत कर उन्होंने बॉलीवुड में अपनी धमाकेदार शुरुआत की घोषणा कर दी।
भूमि को ये भूमिका भी संयोग से ही मिली जिसकी उन्हें बिलकुल उम्मीद नहीं थी। असिस्टैंट फिल्म डायरेक्टर के तौर पर उन्हें इस फिल्म की कास्टिंग की ज़िम्मेदारी दी गयी थी। तो इस रोल के लिए उन्होंने बहुत सारी लड़कियों के ऑडिशन भी लिए पर उनमें से कोई भी सैलेक्ट नहीं हो सकी।
एक बार जब वो दूसरी ऐक्ट्रैस को डेमो देकर रोल समझा रहीं थीं तो कास्टिंग टीम ने उनको बिना बताए उस डेमो को रिकॉर्ड कर लिया और उसको ऑडिशन मान कर सैलेक्ट किया गया। इस तरह उनको ये रोल मिला। फिल्म इंडस्ट्री में काम करके उन्होंने अपने पापा का लोन चुकाया।
भूमि का फिल्मों का चुनाव भी बहुत ही अलग होता है। फिल्म ‘साँड़ की आँख’ में जो एक सच्ची कहानी पर आधारित थी, तापसी पन्नू के साथ उन्होंने अधिक उम्र की महिला का रोल करने की हिम्मत दिखाई। इस रोल की तैयारी करने के लिए उन्होंने और तापसी ने जेल में चंद्रो और प्रकाशी तोमर के साथ काफी समय गुज़ारा।
इस फिल्म में वो 70 साल की शार्प शूटर चंद्रो तोमर की भूमिका में थीं और इसके लिए ना केवल उनकी ऐक्टिंग की सराहना हुई बल्कि तापसी पन्नू के साथ संयुक्त रूप से फिल्मफेयर का क्रिटिक्स अवॉर्ड फॉर बैस्ट ऐक्ट्रैस और स्क्रीन अवार्ड्स भी जीते।
उनकी अन्य ख़ास फिल्मों में मनोज बाजपेयी और सुशांत सिंह राजपूत के साथ सोनचिरैया और अक्षय कुमार के साथ सोशल कॉमेडी फिल्म ‘टॉयलेट: एक प्रेम कथा’ थी। ‘सोनचिरैया’ और ‘साँड़ की आँख’ के लिए तो उन्होंने ढाई महीने बन्दूक चलाने की और फिजिकल ट्रेनिंग भी की।
सुशांत के लिए श्रद्धांजलि (A Tribute to Sushant Singh Rajput)
भूमि पेडनेकर के अनुसार सुशांत सिंह राजपूत उनके लिए टीचर जैसे थे और दोनों की अच्छी दोस्ती थी। फिल्म ‘सोनचिरैया’ के सेट पर उन्हें सुशांत से बहुत कुछ सीखने को मिला। सुशांत के घर पर बड़े टेलिस्कोप पर देख कर तारों और अंतरिक्ष के बारे में उनसे समझना कुछ खास यादें हैं जिन्हें वो कभी नहीं भूल पायेंगी। सुशांत के साथ बिताए ख़ुशी के पलों को याद करते हुए उन्होंने अपने इंस्टाग्राम पर सुशांत के लिए एक कविता भी पोस्ट की थी।
जागरूकता बढ़ाने के लिए सामाजिक अभियान (Bhumi Pednekar Social Campaign)
2019 में, भूमि ने पर्यावरण संरक्षण और ग्लोबल वार्मिंग जैसे विषयों पर जागरूकता बढ़ाने के लिए क्लाइमेट वॉरियर नाम से एक अभियान शुरू किया। वह एक ऐसी अभिनेत्री हैं जिन्होंने फीमेल एक्टर्स की मेल एक्टर्स के बराबर पारिश्रमिक जैसे मुद्दों के बारे में भी आवाज़ उठायी।
साल 2020 में, उन्होंने एमटीवी इंडिया के साथ मिलकर उनके निषेध अभियान के लिए काम किया, जिसका उद्देश्य युवाओं में रिप्रोडक्टिव हैल्थ [reproductive health] सहित स्वास्थ्य के अन्य मुद्दों के बारे में जागरूकता पैदा करना है।